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Saturday 25 February 2017

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‘लिपस्टिक अंडर माय बुर्का’: सेंसर बोर्ड विवाद पर वरूण ग्रोवर का कटाक्ष- लड़कियों को सेक्स के बारे में सोचना नहीं चाहिए!

‘लिपस्टिक अंडर माय बुर्का’: सेंसर बोर्ड विवाद पर वरूण ग्रोवर का कटाक्ष- लड़कियों को सेक्स के बारे में सोचना नहीं चाहिए!
Jamshedpur: ‘लिपस्टिक अंडर माय बुर्का’ फिल्म को लेकर सेंसर बोर्ड एक बार फिर विवादों में है. सेंसर बोर्ड ने इस फिल्म को सर्टिफिकेट देने से ही मना कर दिया है.  सेंसर बोर्ड को एतराज है कि फिल्म लिपस्टिक अंडर माय बुर्का की कहानी में हकीकत कम औऱ कल्पनाएं ज्यादा हैं.
फिल्म की डायरेक्टर हैं अलंकृता श्रीवास्तव और है सेंसर बोर्ड ने उन्हें एक चिट्ठी में लिखा है, ‘फिल्म में एडल्ट सीन, ऑडियो पॉर्नोगार्फी, और अपशब्द है. साथ ही यह फिल्म समाज के एक खास वर्ग के प्रति ज्यादा संवेदनशील है जिस वजह से इसे प्रमाणित नहीं किया गया है.’
इस फिल्म के प्रोड्यूसर प्रकाश  झा हैं. अब पूरा बॉलीवुड इस मुद्दे पर एकजुट हो गया है और सेंसर बोर्ड की निंदा की है. कॉमेडियन और राइटर वरूण ग्रोवर ने भी इस पर अपनी नाराजगी जाहिर की है और कटाक्ष करते हुए ट्विटर पर है, ‘फीमेल सेक्सुअलिटी पर बनी फिल्म को सेंसर बोर्ड ने सर्टिफिकेट देने से मना कर दिया है क्योंकि लड़कियों को सेक्स के बारे में सोचना नहीं चाहिए.’

इस फिल्म की डायरेक्टर अलंकृता ने कहा- यह शर्मनाक है. हम ऐसे समाज में रह रहे हैं जहां अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता नहीं है.
 

‘बजरंगी भाईजान’ जैसी फिल्म बनाने वाले मशहूर डायरेक्टर कबीर खान ने कहा- दो-तीन लोग मिलकर ये निर्णय नहीं ले सकते कि हमारे समाज के लिए क्या सही है और क्या गलत.
2-3 ppl can’t decide which film is good for our society and which is not.This is ridiculous: Kabir Khan,Director
इस फिल्म के प्रोड्यूसर प्रकाश झा ने कहा है, ‘यह (सेंसरशिप) समस्या तब तक बनी रहेगी जब तक किसी के पास सेंसर करने की, कांट छांट करने की ताकत या आजादी रहेगी. सीबीएफसी में कुछ सदस्य हैं जिनकी अपनी खुद की सोच है और वे उसी के हिसाब से दिशानिर्देशों की व्याख्या करते हैं. वे अपनी पसंद-नापसंद के हिसाब से फैसले लेते हैं.’
उन्होंने कहा, ‘अगर सेंसर बोर्ड के मापदंडों पर कुछ चीजें खरी नहीं उतरतीं तो वे उन्हें गलत अर्थ में ले लेते हैं. ये मानवीय गलतियां हैं. मुझे लगता है कि मेरी फिल्म की कहानी बहुत ही खूबसूरत है जो समाज के उस वर्ग की महिलाओं की कहानी है जिसे लोगों ने महसूस किया है लेकिन जो कभी बयां नहीं की गयी, कभी सुनी नहीं गयी.’
‘लिपस्टिक अंडर माई बुर्का’ में रत्ना पाठक शाह, कोंकणा सेन शर्मा, अहाना कुमरा, प्लाबिता बोरठाकुर, सुशांत सिंह, विक्रांत मेसी और शशांक अरोड़ा मुख्य भूमिकाओं में हैं.

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