जया बच्चन ने अपनी बहू ऐश को मारा ताना, कहा, “शर्म नाम की तो चीज़ है ही नहीं”
जया बच्चन ने मुंबई के मामी फिल्म फेस्टिवल में आज कल की फिल्म मेकिंग के बारे में कई बाते कहीं हैं
बॉलीवुड में अमिताभ बच्चन की बीबी और ऐश्वर्या राय
बच्चन की सास जया बच्चन हमेशा से अपने बिंदास बयानों के लिए जानी जाती हैं।
किसी भी मुद्दे पर उनसे बात कीजिए, बिना किसी प्रकार का पाक्षपात किए अपने
दिल की बात कह देती हैं। भले ही उस बयान के लिए वो खबरों में छा जायें
लेकिन उन्हें अपनी बात कहने से कभी डरती नहीं हैं। कुछ ऐसा हू उन्होंने कह
दिया है आज-कल के नए फिल्म मेकर्स के लिए, जया ने अनुसार “आज कल के फिल्म
मेकर्स अपने आप को कुछ ज्यादा ही स्मार्ट समझते है।”
असल में जया बच्चन पहुंची थीं कि मुंबई के मामी फिल्म फेस्टिवल में जहां उन्होंने आज-कल की फिल्मों को लेकर अपने विचार वयक्त किए और अपनी फेवरेट फिल्मों के बारे में लोगों को बताया। जया बच्चन के अनुसार, “पहले के जमाने के फिल्म मेकर्स आर्ट बनाया करते थे लेकिन आजकल के फिल्म मेकर्स बिजनेस करते हैं। सब कुछ बस नम्बर गेम तक सिमट कर रह गया है। लोग प्रतिभा को भूलते जा रहे हैं और स्क्रीन पर नग्ता फैशन बन गया है, इसे लोग स्मार्टनेस समझने लगे हैं।”
वैसे जया की कुछ-कुछ बातें तो सही लगती हैं लेकिन उनका लास्ट वाला कमेंट कुछ और ही इशारा करता है। आपको तो ध्यान होगा कि हाल में ऐश के फिल्म ऐ दिल है मुश्किल में कुछ हॉट सीन्स को लेकर काफी ड्रामा हुआ था। इन सीन्स में वो अपने से छोटे रणबीर कपूर के साथ इश्क लड़ा रही हैं। बताया गया था कि उनके इन सीन्स पर बच्चन परिवार ने काफी आपत्ति जताई थी। कहीं जया का लास्ट कमेंट ऐश के लिए ही नहीं था? वैसे आपको बता दें कि जया ने अपने बयान को खत्म करते हुए कहा कि, “शर्म नाम की तो चीज़ है ही नहीं”, हमें तो ये इस लाइन का मतलब कुछ अलग ही लग रहा है। वैसे जया ने ये लाइन किसके लिए बोली है ये तो वही बता सकती हैं।
जया ने अपनी पसंदीदा फिल्मों के बारे में बताते हुए कहा, “मैं 50 और 60 के दशक के सिनेमा को काफी पसंद करती हूं औऱ उसे मिस करती हूं। विमल रॉय का सिनेमा मेरे दिल के कापी करीब है और उनकी फिल्म दो बीघा ज़मीन मुझे कापी पसंद है। जया के अनुसार उस समय के लोग फिल्मों में असली भारत को दिखाते थे लेकिन आज कल के फिल्मकार पश्चिमी सिनेमा को ज्यादा तरजीह देते हैं। आज के जमाने में अपनी पसंदीदा फिल्मों के बारे में पूछने पर जया ने कहा कि उन्हें अलीगढ़ और मसान बहुत पसंद हैं। उनमें सच्चाई दिखती है।
असल में जया बच्चन पहुंची थीं कि मुंबई के मामी फिल्म फेस्टिवल में जहां उन्होंने आज-कल की फिल्मों को लेकर अपने विचार वयक्त किए और अपनी फेवरेट फिल्मों के बारे में लोगों को बताया। जया बच्चन के अनुसार, “पहले के जमाने के फिल्म मेकर्स आर्ट बनाया करते थे लेकिन आजकल के फिल्म मेकर्स बिजनेस करते हैं। सब कुछ बस नम्बर गेम तक सिमट कर रह गया है। लोग प्रतिभा को भूलते जा रहे हैं और स्क्रीन पर नग्ता फैशन बन गया है, इसे लोग स्मार्टनेस समझने लगे हैं।”
वैसे जया की कुछ-कुछ बातें तो सही लगती हैं लेकिन उनका लास्ट वाला कमेंट कुछ और ही इशारा करता है। आपको तो ध्यान होगा कि हाल में ऐश के फिल्म ऐ दिल है मुश्किल में कुछ हॉट सीन्स को लेकर काफी ड्रामा हुआ था। इन सीन्स में वो अपने से छोटे रणबीर कपूर के साथ इश्क लड़ा रही हैं। बताया गया था कि उनके इन सीन्स पर बच्चन परिवार ने काफी आपत्ति जताई थी। कहीं जया का लास्ट कमेंट ऐश के लिए ही नहीं था? वैसे आपको बता दें कि जया ने अपने बयान को खत्म करते हुए कहा कि, “शर्म नाम की तो चीज़ है ही नहीं”, हमें तो ये इस लाइन का मतलब कुछ अलग ही लग रहा है। वैसे जया ने ये लाइन किसके लिए बोली है ये तो वही बता सकती हैं।
जया ने अपनी पसंदीदा फिल्मों के बारे में बताते हुए कहा, “मैं 50 और 60 के दशक के सिनेमा को काफी पसंद करती हूं औऱ उसे मिस करती हूं। विमल रॉय का सिनेमा मेरे दिल के कापी करीब है और उनकी फिल्म दो बीघा ज़मीन मुझे कापी पसंद है। जया के अनुसार उस समय के लोग फिल्मों में असली भारत को दिखाते थे लेकिन आज कल के फिल्मकार पश्चिमी सिनेमा को ज्यादा तरजीह देते हैं। आज के जमाने में अपनी पसंदीदा फिल्मों के बारे में पूछने पर जया ने कहा कि उन्हें अलीगढ़ और मसान बहुत पसंद हैं। उनमें सच्चाई दिखती है।
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